Coronavirus : जिन 12 देशों की कर रहे थे मॉनिटरिंग, उनमें ब्रिटेन नहीं

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रायपुर । छत्तीसगढ़ में जितने भी कोरोना संक्रमित मिले हैं, वे स्वास्थ्य विभाग की एक बड़ी चूक की ओर इशारा कर रहे हैं। एयरपोर्ट पर जिन 12 देशों के यात्रियों की स्क्रीनिंग कर आइसोलट करना था, उसमें ब्रिटेन का जिक्र ही नहीं था। जबकि अब तक प्रदेश में मिले सात कोरोना पॉजिटिव में से तीन ब्रिटेन की यात्रा करके लौटे थे।

अब पिछले एक माह में ब्रिटेन लौटे सभी लोगों की जांच का फैसला लिया गया है। रविवार को राज्य स्तरीय कमांड एंड कंट्रोल सेंटर में विभागीय अधिकारियों की बैठक लेकर स्वास्थ्य सचिव निहारिका बारिक सिंह ने राज्य में कोरोना संक्रमण एवं बचाव की स्थिति की समीक्षा की।

स्वास्थ्य सचिव के अनुसार पिछले एक महीने में 2500 से अधिक लोग विदेश यात्रा करके आए हैं। इनमें से ब्रिटेन से आए लोग की संख्या 73 है। अकेले रायपुर में ही ब्रिटेन से पहुंचे लोगों की संख्या 35 है। इनके नाम, पते और संपर्क की जानकारी संबंधित जिलों के कलेक्टर, एसपी और सीएमएचओ को दे दी गई है और इन लोगों का तत्परता से सैंपल कलेक्ट कर टेस्ट के लिए उपलब्ध कराने को कहा गया है।

अन्य देशों से आए लोगों की सूची भी विभाग ने तैयार कर ली है और इसे संबंधित जिलों को उपलब्ध करा दिया है। एक्टिव सर्विलेंस टीम इन लोगों के संपर्क में है और उनके स्वास्थ्य पर निगरानी कर रही है। बैठक में सचिव ने ब्रिटेन से आए लोगों के आस-पास के इलाकों को भी एक्टिव सर्विलेंस में रखने के निर्देश दिए।

निहारिका ने विभागीय अधिकारियों से जिले के सीएमएचओ से संपर्क बनाए रखने तथा वहां आवश्यकतानुसार मास्क व्यक्तिगत सुरक्षा किट, सैंपल किट (वीटीएम) भिजवाने के भी निर्देश दिए। बैठक में बताया गया कि कोरोना के समुदाय संक्रमण का अभी कोई प्रमाण राज्य में नहीं मिला है। राज्य में कोरोना के अभी तक 9921 संदेहास्पद लोगों में से 9788 लोगों को चिह्नित कर लिया गया है। 6241 लोग होम क्वारंटाइन में हैं।

शुरू से ही बरती लापरवाही

भारत में कोरोना पॉजिटिव केस मिलने के बाद स्वास्थ्य विभाग द्वारा माना एयरपोर्ट पर एक फरवरी से विदेश से यात्रा से लौटने वालों से सेल्फ रिपोर्टिंग की अपील की जा रही थी। लेकिन देश में कोरोना पॉजिटिव की संख्या बढ़ने और लोगों द्वारा जानकारी छिपाने की शिकायतों को देखते हुए 17 मार्च से सख्ती शुरू की गई।

लोगों से होम आइसोलेशन में रहने की हिदायत तो दी गई, लेकिन इसकी मॉनीटरिंग नहीं की गई। प्रदेश स्तर पर हुई इस चूक को लेकर राज्य नोडल अधिकारी डॉ. धर्मेंद्र गहवई से लगातार फोन पर संपर्क करने की कोशिश की गई, लेकिन उनका फोन रिसीव नहीं हुआ।

मीटिंग-मीटिंग खेलते रहे जिम्मेदार

कोरोना रोकने प्रदेश स्तर के अधिकारी मीटिंग पर मीटिंग तो लेते रहे, लेकिन जमीन स्तर पर न कर्मचारियों से काम ले सके, न ही सही व्यवस्था बनाई जा सकी। नतीजा ये हुआ कि संक्रमित मरीज एक-एक कर सामने आने लगे। ये वही लोग थे, जिन्हें होम आइसोलेशन में रहने कहा गया था।

इन देशों से आने वालों रखी जा रही थी नजर

चीन, थाईलैंड, मॉरीशस, सिंगापुर, ऑस्ट्रेलिया, ताइवान, अमेरिका, जापान, फ्रांस, नेपाल, कनाडा, श्रीलंका।

क्वारंटाइन में रखे गए लोग

झांझ केंद्र : 18 निमोरा केंद्र : 42 होटल शीतल : 20 फारेस्ट ट्रेनिंग सेंटर : 02

– रायपुर में तीन केस मिले हैं, जो ब्रिटेन से आए हैं। हमारे पास जो सूची है उसमें रायपुर के 35 लोग हैं, जो ब्रिटेन से पहुंचे हैं। उन्हें चि-त कर तत्काल आइसालेट कर दिया है। और उनके सैम्पल जांच के लिए भेजे हैं। जमीनी स्तर पर लक्षण के आधार पर लोगों को भी चिन्हित किया जा रहा है। इसका सर्वे स्वास्थ्य कर्मी कर रहे हैं। – डॉ. मीरा बघेल, जिला चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी, जिला-रायपुर