नई दिल्ली : INX मीडिया हेराफेरी (INX Media Case) के सीबीआई (CBI) केस में पी. चिदंबरम (P Chidambaram) की जमानत याचिका पर सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) में आज सुनवाई होगी. इससे पहले दिल्ली हाईकोर्ट (Delhi high Court) ने चिदंबरम की जमानत याचिका खारिज कर दी थी. दरअसल, इसी केस में चिदंबरम दिल्ली की तिहाड़ जेल में बंद हैं. चिदंबरम के वकील कपिल सिब्बल ने दिल्ली हाईकोर्ट में कहा था कि वह कभी भी इन्द्राणी मुखर्जी से नहीं मिले. यहां तक कि सीबीआई कस्टडी के दौरान मुझसे कहा गया था कि पीटर हमसे मिले थे इंद्राणी नहीं. ये खुद पीटर ने अपने बयान में कहा था. ऐसा एजेंसी के अधिकरियों ने कहा था कि इसके अलावा विज़िटर्स बुक भी चेक कर सकते हैं कि इंद्राणी से हमारी मुलाकात नहीं हुई है.
सीबीआई का पक्ष रखते हुए सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने कहा था कि ये मनी लॉन्ड्रिंग केस का क्लासिक उदाहरण है. इसी केस को हाईकोर्ट ने समझते हुए अग्रिम जमानत याचिका आरोपी का खारिज किया था. उन्होंने आगे कहा था कि पैसा एडवांटेज कंपनी में आया, आगे उसी की अन्य कंपनी ASCPL का इस्तेमाल किया गया, मोहन और राजेश जोकि ASCPL के डायरेक्टर हैं, कंपनी के 66% शेयर ट्रांफर किए गए, ये दोनों चिदंबरम के फैमिली फ्रेंड हैं. गवाहों को प्रभावित किया जा रहा है, इसलिए याचिका खारिज कर देनी चाहिए. सिर्फ इन्द्राणी मुखर्जी ही मुख्य गवाह नहीं हैं, उसने मजिस्ट्रेट के सामने 164 में बयां दर्ज कराया.
उन्होंने कहा कि चिदंबरम का कहना था कि उन्हें सिर्फ एक बार जुलाई 2018 में जांच के लिए बुलाया. लेकिन चिदंबरम सहयोग नहीं कर रहे थे ये बात मानते हुए हाईकोर्ट और सुप्रीम कोर्ट ने उनको राहत नहीं दी.तुषार मेहता ने कहा था कि सीबीआई का आरोप विज़िटर्स रजिस्टर से छेड़छाड़ हुई है. सबूतों को नष्ट का प्रयास किया गया.